कबीर की निर्गुण भक्ति भावना का मूल्यांकन | Evaluation of Kabir’s Nirguna Bhakti spirit in Hindi
कबीर की निर्गुण भक्ति भावना का मूल्यांकन | Evaluation of Kabir’s Nirguna Bhakti spirit in Hindi कबीर की निर्गुण भक्ति भावना का मूल्यांकन आचार्य रामचन्द्र शुक्ल ने हिन्दी साहित्य का आरम्भ संवत् 1050 से मानकर उसे चार भागों में बाँटा है। उसके दूसरे काल को उन्होंने भक्तिकाल नाम दिया है। भक्ति का विभाजन शुक्लजी ने … Read more